Thursday, November 29, 2018

थ्रेडबो हिल स्टेशन: रोमांचक एहसास

   थ्रेडबो हिल स्टेशन की प्राकृतिक सुन्दरता का कोई जोड़ नहीं। बर्फ एवं शीतकालीन खेलों के लिए तो थ्रेडबो हिल स्टेशन किसी स्वर्ग से कम नहीं है। 

   आस्ट्रेलिया के न्यू साउथ वेल्स स्थित थ्रेडबो हिल स्टेशन दुनिया के पर्यटकों का पसंदीदा पर्यटन स्थल है। समुद्र तल से करीब 2037 मीटर ऊंचाई पर स्थित यह हिल स्टेशन वस्तुत: एक छोटा पहाड़ी शहर है।

   चौतरफा प्राकृतिक सौन्दर्य की निराली छटा पर्यटकों को मुग्ध कर लेती है। सर्दियों में तो सैलानिया एवं पर्यटकों का समूह थ्रेडबो हिल स्टेशन पर उमड़ पड़ता है।
  बर्फ के खेलों के साथ ही यहां ट्रैकिंग, साइकलिंग, रॉक क्लाइबिंग आदि के लिए भी थ्रेडबो हिल स्टेशन खास प्रसिद्ध है।

  पर्यटक थ्रेडबो हिल स्टेशन पर एक खास रोमांचक एहसास करते हैं। ग्रीष्मकालीन ब्लूज संगीत यहां का विशेष है। इस आयोजन में देश विदेश के पर्यटकों का हुजूम उमड़ पड़ता है।
   वस्तुत: थ्रेडबो हिल स्टेशन स्नोई पर्वत का छोटा सा गांव है। न्यू साउथ वेल्स का यह गांव अब शहर में तब्दील हो चुका है। 

   आस्ट्रेलिया के इस छोटे शहर की आबादी भी बहुत अधिक नहीं है। आस्ट्रेलिया के इस शहर की आबादी करीब 470 है। फिर भी पर्यटकों के लिए सभी आवश्यक सेवाएं-सुविधाएं उपलब्ध हैं। 

   थ्रेडबो हिल स्टेशन सिडनी से करीब 500 किलोमीटर दक्षिण दिशा में स्थित है। विशेष यह कि थ्रेडबो हिल स्टेशन थ्रेडबो नदी के तट पर बसा है।
   इस इलााके को रैम्सहेड रेंज एवं क्रैकनबैक नदी भी कहा जाता है। सर्दियों में थ्रेडबो हिल स्टेशन का पूूरा इलाका बर्फ से ढ़क जाता है। बर्फ से आच्छादित थ्रेडबो हिल स्टेशन दुनिया का बेहतरीन स्की रन वाला क्षेत्र होता है।

   विशेषज्ञों की मानें तो दुनिया के शीर्ष पर्यटन स्थलों में शामिल थ्रेडबो हिल स्टेशन में सालाना पर्यटकों की संख्या 700000 से भी अधिक होती है। विशेष यह कि थ्रेडबो हिल स्टेशन सर्दियों में पर्यटकों को खास आकर्षित करता है। कारण बर्फ के खेलों का भरपूर आनन्द पर्यटक यहां ले सकते हैं। 

  थ्रेडबो हिल स्टेशन में झीलों-झरनों की एक लम्बी श्रंखला होने से पर्यटक जलक्रीड़ा एवं जल खेलों का भी लुफ्त उठा सकते हैं। थ्रेडबो रिजाट्र्स पर्यटकों के आनन्द को आैर भी दोगुना कर देते हैं। पर्यटक होटल या रिजार्ट में बैठ कर बर्फबारी का भरपूर मजा लेते हैं। 

   थ्रेडबो हिल स्टेशन की नाइट लाइफ का अपना एक अलग ही अंदाज है। थ्रेडबो हिल स्टेशन पर एक अति सुन्दर एवं शानदार कोसिचुज्को नेशनल पार्क भी है। 
  पार्क में भी पर्यटक मौज मस्ती कर सकते हैं। वस्तुत: स्नोई पर्वत आस्ट्रेलिया की एक समृद्ध पर्यटन विरासत है। 

   इसे यूरोपीय स्कीइंग शहर भी कहा जा सकता है। बादलों का अंदाज भी यहां एकदम अलग दिखता है। कभी पर्यटक बादलों के साथ होते हैं तो कभी बादल पर्यटकों की गोद में होते हैं। 

    थ्रेडबो गांव वस्तुत: क्रैकनबैक घाटी पर रचा बसा है। गांव समुद्र तल से करीब 1365 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। लिहाजा शांत एवं शीतल परिवेश मन मस्तिष्क को प्रफुल्लित कर देता है। वहीं, थ्रेडबो हिल स्टेशन के शिखर पर प्राकृतिक सुन्दरता से आच्छादित वातावरण है। 

   थ्रेडबो हिल स्टेशन पर सर्दियों में तो तापमान शून्य से भी नीचे चला जाता है। विशेषज्ञों की मानें तो थ्रेडबो हिल स्टेशन आस्ट्रेलिया का सबसे लम्बा स्की रन है। खास यह कि थ्रेडबो हिल स्टेशन प्राकृतिक सुन्दर स्थानों की एक लम्बी श्रंखला है। 

   खास तौर से वम्बैट वल्र्ड, मेरिट्स पार्क, क्रूजर पार्क, एंटन्स पार्क, राइडरक्रास, गनबरैल एक्सप्रेस चेयरलिफ्ट आदि इत्यादि बहुत कुछ है। गनबरैल एक्सप्रेस वस्तुत: वस्तुत: एक लिफ्ट है।
   थ्रेडबो हिल स्टेशन की यात्रा के सभी आवश्यक संसाधन उपलब्ध हैं। पर्यटक एयरपोर्ट से भी उड़ान भर सकते हैं। रेल से भी पर्यटक थ्रेडबो हिल स्टेशन की यात्रा कर सकते हैं। पर्यटक सड़क मार्ग से भी यात्रा कर सकते हैं।
-36.504850,148.306560

Wednesday, November 21, 2018

गिएथूर्न गांव: सड़कें नहीं, नहरों का संजाल

   ईको फ्रैण्डली गांव निश्चय ही लुभावने होंगे, इसमें कहीं कोई शक-संदेह नहीं। परिकल्पना होती है कि आदर्श गांव हो तो चमचमाती सड़कें हो... मूलभूत सेवाओं-सुविधाओं की श्रंखला बेहतरीन हो... कोलाहल से दूर सुरम्य वातावरण हो... प्राकृतिक सौन्दर्य की आभा से परिवेश आलोकित हो रहा हो। 

   जी हां, इन सभी खूबियों से लबरेज नीदरलैण्ड का एक गांव 'गिएथूर्न" देश-दुनिया के पर्र्यटकों के लिए खास बन गया। स्वप्न लोक के इस गांव में खास यह है कि गांव में सड़कों का संजाल नहीं है। सपनों के इस गांव में खूबसूरती के साथ ही सादगी भी खास है। 

   शायद इसी लिए इसे 'दक्षिण का वेनिस" एवं 'नीदरलैण्ड का वेनिस" भी कहा जाता है। हॉलैण्ड-नीदरलैण्ड का यह विशिष्ट पर्यटन स्थल बन चुका है। नीदरलैण्ड के 'गिएथूर्न गांव" में देश विदेश के पर्यटकों की आवाजाही हमेशा बनी रहती है। 

   इस गांव में सड़कों का संजाल तो नहीं अलबत्ता नहरों का गजब का संजाल है। करीब साढ़े सात किलोमीटर दायरे में फैला नहरों का यह नेटवर्क ही आवाजाही अथवा यातायात का सुगम मार्ग है। 

   आदर्श गांव हो आैर कोई चमचमाती कार या बाइक न हो, ऐसा हो नहीं सकता लेकिन ताज्जुब है कि इस गांव में न तो कोई कार है आैर न ही कोई बाइक ही है। इसका एक बड़ा कारण भी है कि इस ईको फ्रैण्डली गांव में वाहनों को चलाने लायक सड़क भी तो नहीं हैं।

  गांव में कहीं किसी को जाना हो तो सुगम साधन  बोट (नाव) है। इन नहरों में इलेक्ट्रिक मोटर बोट भी चलती है। इन नावों से कोई शोर-शराबा नहीं होता। गांव के बाशिंदों को कहीं कोई शिकायत भी नहीं रहती।

   आसपड़ोस में आने जाने के लिए बाशिंदों ने नहरों के उपर लकड़ी के पुुल बना रखे हैं। जिससे बाशिंदों को आसपड़ोस में आने-जाने में सहूलियत रहती है। नीदरलैण्ड व दुुनिया के इस विलक्षण गांव का उद्भव वर्ष 1230 में बताया जाता है।

    विशेषज्ञों की मानें तो वर्ष 1170 की विकराल बाढ़ से यह इलाका अत्यधिक प्रभावित रहा। इस इलाके में आबादी की चहलकदमी पर बाशिंदों को बकरियों के असंख्य सींग मिले थे।
   शायद इसी लिए इस स्थान का नाम पहले गेटेनहोर्न पड़ा। गेटेनहोर्न का शाब्दिक अर्थ 'बकरियों के सींग" होता है।

   यही गेटेनहोर्न अपभ्रंश होकर अब  गिएथूर्न बन गया। इस गांव में नहरों का संजाल न तो किसी शासकीय योजना के तहत बना न किसी योजनाबद्ध तौर तरीके से नहरों को खोदा गया।
   विशेषज्ञों की मानें तो 1170 की प्रलयंकारी बाढ़ में भारी तादाद में दलदली मिट्टी व बहुमूूल्यवान वनस्पतियां बह कर आ गयीं। दलदली मिट्टी वनस्पतियों को यह मिलाजुुला स्वरुप र्इंधन के तौर पर उपयोगी माना गया।

   शायद इसी लिए बाशिंदों ने खोदाई की। खोदाई होते-होते कब इस गांव में नहरों का संजाल बन गया, बाशिंदों को पता ही नहीं चला। शायद किसी को अनुमान नहीं होगा कि खोदाई अचानक ऐसा स्वरुप ले लेगा, जिसे दुनिया के एक बेहतरीन पर्यटन स्थल के तौर जाना जायेगा।

   इस गांव में करीब साढ़े सात किलो मीटर लम्बी नहरों का संजाल है। बताते हैं कि करीब छह दशक पहले यह गांव अचानक विश्व पर्यटन मानचित्र पर छा गया।
    वर्ष 1958 के आसपास डच कामेडी फिल्म फेनफेयर की शूटिंग गिएथूर्न गांव में की गयी। इसके बाद यह गावं दुनिया में खास तौर से ईको फ्रैण्डली विलेज के तौर पर जाना जाने लगा।

    इस फिल्म को बनाने वाले बर्ट हांस्त्रा थे। 'नो कार नो पाल्यूशन" की छवि के साथ ही इस गांव का कोना-कोना प्राकृतिक सौन्दर्य से लबरेज है। वातावरण में एक खुशबू के साथ मंद-मंद पवन भी मन-मस्तिष्क को झंकृत कर देती है।

   नहरों के उपर लकड़ी के शानदार पुल हैं तो गांव में शानदार म्युजियम भी हैं। इस गांव में नये नवेले आशियाने दिखेंगे तो वहीं दो वर्ष पुराने घर-घरौंदे भी शानदार आवरण में नजर आयेंगे।
   इस गांव में सैर सपाटा करने के लिए एमस्टडर्म एयरपोर्ट से भी जा सकते हैं तो रोटेर्डम एयरपोर्ट से भी यात्रा का लुफ्त उठा सकते हैं।
   एमस्टडर्म एयरपोर्ट से गिएथूर्न गांव की दूूरी करीब 95 किलोमीटर है तो वहीं रोटेर्डम एयरपोर्ट से करीब एक सौ दस किलोमीटर की दूरी है। इस गांव तक पहंुचने के लिए बस व रेल मार्ग से भी जाया जा सकता है।
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Sunday, November 18, 2018

सेंट मोरित्ज : धरती का स्वर्ग

    सेंट मोरित्ज को धरती का स्वर्ग कहा जाए तो शायद कोई अतिश्योक्ति न होगी। वस्तुत: सेंट मोरित्ज एक सुन्दर ग्लेशियर शहर है। यूं कहें कि सेंट मोरित्ज दुनिया का नायाब शहर है।

  स्वीट्जरलैंड के एगाडाइन स्थित सेंट मोरित्ज की सुन्दरता देश दुनिया के पर्यटकों को आकर्षित करती है। समुद्र तल से करीब 1822 मीटर ऊंचाई पर स्थित किसी शानदार एवं खूबसूरत हिल स्टेशन से कम नहीं। 

   सेंट मोरित्ज की भव्य-दिव्य सुन्दर झील एवं ग्लेशियर की घाटी पर्यटकों को मुग्ध कर लेती हैं। सेंट मोरित्ज खास तौर से शीतकालीन खेलों एवं पर्वतीय साहसिक खेलों के लिए देश दुनिया में विशेष ख्याति रखता है। 

   विशेषज्ञों की मानें तो सेंट मोरित्ज ने 1928 एवं 1948 में शीतकालीन ओलंपिक खेलों की मेजबानी भी कर चुका है। लिहाजा इसके सौन्दर्य शास्त्र को बखूबी समझा जा सकता है। सेंट मोरित्ज में झीलों एवं झरनों की एक लम्बी श्रंखला है।

   स्वर्ग जैसा सुन्दर परिवेश वाला सेंट मोरित्ज युवा प्रेमियों के लिए लवर प्वाइंट से कम नहीं। हालांकि इसे रोमांस के लिए दुनिया के बेहतरीन स्थानों में से माना जाता है। सेंट मोरित्ज की सुन्दरता 1137-1139 के मध्य दुनिया के सामने आयी। 

   विशेषज्ञों की मानें तो सेंट मोरित्ज वस्तुत: कभी एक सुन्दर गांव था। जिसे विकास ने हिल सिटी के रूप में तब्दील कर दिया। 
   इस स्थान का नाम सेंट मॉरिस के नाम पर रखा गया। विशेषज्ञों की मानें तो 1864 में सेंट मोरित्ज को एक सुन्दर रिजार्ट शहर के रूप में जाना पहचाना जाने लगा। 

   खासियत यह है कि सुन्दर पर्वत श्रंखला एवं ग्लाशियर के मध्य बसा सेंट मोरित्ज का आबादी क्षेत्र सिर्फ 9 प्रतिशत ही है।
   अल्पाइन आच्छादित वन क्षेत्र की प्रचुरता के कारण सेंट मोरित्ज की सुन्दरता में चार चांद लग जाते हैं। यहां नदियों एवं झीलों की सुन्दरता एवं जल की निर्मलता पर्यटकों को मुग्ध कर लेती है।

  शांत एवं शीतल परिवेश वाला सेंट मोरित्ज 19 शताब्दी से दुनिया के पर्यटन प्रेमियों के बीच खास लोकप्रिय हुआ। अवकाश के दिनों में मौज-मस्ती एवं सैर सपाटा के लिए सेंट मोरित्ज दुनिया के चुनिंदा स्थानों में माना जाता है। 

   विशेषज्ञों की मानें तो 2008 में कार्टियर पोलो विश्व कप का आयोजन सेंट मोरित्ज में किया गया। सेंट मोरित्ज ने 1985 शीतकालीन खेल पोलो की शानदार मेजबानी की थी। शीतकालीन खेलों के लिए प्रसिद्ध सेंट मोरित्ज ट्रैकिंग के लिए भी बेहतरीन इलाका है।

  चौतरफा प्राकृतिक सौन्दर्य से आच्छादित परिवेश देख कर पर्यटकों का मन मस्तिष्क रोमांचित हो उठता है। गर्मियों में सेंट मोरित्ज में चौतरफा एथलीट, साइकिल रेसर, धावक, रस वॉकर्स आदि इत्यादि की हलचल दिखेगी। 

   खास यह कि सेंट मोरित्ज को समुद्र तल से ऊंचाई, मौसम का खुशनुमा होना, विश्व स्तरीय एथलेटिक्स ट्रैक एवं सुन्दर पाथ-वे आदि इत्यादि विशिष्ट बना देते हैं।
   नदियों में नौकायन करना पर्यटकों को रोमांच से भर देता है तो वहीं बर्फ के साथ खेलना भी कम रोमांचकारी नहीं होता। पर्यटक सेंट मोरित्ज में घुड़सवारी का भी भरपूर आनन्द ले सकते हैं।

   विशेषज्ञों की मानें तो सेंट मोरित्ज में धूप का आनन्द कुछ खास होता है। सर्दियों में बर्फ की चादर चौतरफा एक सुहानापन अवलोकित कराता है। स्कीइंग एवं स्नोबोर्डिंग के लिए सेंट मोरित्ज सर्वाधिक बेहतरीन स्थान है। सेंट मोरित्ज की आबादी 5600 के आसपास है।

   पर्यटकों को यहां सभी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध होती हैं। करीब 13000 बेड्स की सुविधा वाले परिसर पर्यटको की सेवा के लिए उपलब्ध हैं। खास यह कि सेंट मोरित्ज में बर्फ की एक सुन्दर गुफा भी है।
   इस बर्फीली गुफा की लम्बाई करीब 8 किलोमीटर है। इसे दुनिया का आश्चर्य भी माना जाता है। यहां की स्थानीय लोक संस्कृति का भी पर्यटक लुफ्त ले सकते हैं। सेंट मोरित्ज संग्रहालय भी विशेष है।
   सेंट मोरित्ज की यात्रा के सभी आवश्यक संसाधन उपलब्ध हैं। निकटतम एयरपोर्ट ज्यूरिख-क्लोटेन है। पर्यटक यहां से टैक्सी या कार से 3.50 घंटे की यात्रा कर सेंट मोरित्ज पहंुच सकते हैं। निकटतम रेलवे स्टेशन ज्यूरिख एवं चूर हैं। पर्यटक सड़क मार्ग से भी सेंट मोरित्ज की यात्रा कर सकते हैं।
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ओडो बोटानिया: रोमांचक मखमली एहसास    ओडो बोटानिया को धरती का ताज कहा जाना चाहिए। जी हां, ओडो बोटानिया का प्राकृतिक सौन्दर्य विलक्षण है...